Monday, December 23, 2019

क्या कोई देश बिना आयकर, जीएसटी, पेयजल व खेती की जमीन के भी विकसित देश हो सकता है – हां !  

क्या कोई देश बिना आयकर, जीएसटी, पेयजल व खेती की जमीन के भी विकसित देश हो सकता है – हां !

 

“ क्या कोई देश बिना पेयजल व खेती की जमीन के भी विकसित देश हो सकता है”, प्रश्न अपने आप में विरोधाभाषी है. बिना  पेयजल व खेती की जमीन के भी किसी देश के विकास के बारे में तो सोचा ही नहीं जा सकता है. मै आप सभी पाठको को बताना चाहूंगा कि बिना आयकर (Income-tax), जीएसटी (GST), पेयजल (Drinking Water) व खेती की जमीन (Land for Agriculture) के भी कोई भी देश विकास (Development)  कर सकता है, उन देशो में से एक  देश का नाम है –  दुबई (Dubai). 

फिर क्या है दुबई में :  दोस्तों, दुबई में न इनकम-टैक्स है, न जीएसटी है,  न पीने का पानी है और न ही  खेती की जमीन व खेती है. दुबई में एक तरफ खारे पानी का समुद्र (Sea) है तो दूसरी ओर रेगिस्तान (Desert) है. बारिश (Rain Fall) कभी-कभार भूल से आ जाती है. और तो और दुबई में एक लीटर भी आयल पैदा (Oil Production) नहीं होता है (ऐसी गलतफहमी कई लोगो को है).  लेकिन इस हालत में भी यह दुबई दुनिया का एक विकसित देश (Developed Country) है. इसके ठीक उलट भारत में इनकम-टैक्स है, जीएसटी है,  पीने का पानी है , खेती की जमीन है लेकिन दुबई की तुलना में बहुत पीछे.

दुबई में सरल व सख्त टैक्स (Easy and Strict Tax) की व्यवस्था है :  ऐसा नहीं है कि दुबई में इनकम-टैक्स व जीएसटी नहीं है, तो वहा कोई टैक्स भी नहीं है. दुबई में भी टैक्स (Tax in Dubai) है लेकिन एकदम  सरल (Easy Tax) जिससे हर कोई आराम / सरलता से पालना कर सकता है. लेकिन टैक्स इतना सख्त (Strict Tax) है कि कोई टैक्स की चोरी (Tax Evasion) की सोच भी नहीं सकता है. उद्दाहरण के लिए टोल टैक्स (Toll Tax)  का ले लीजिये. दुबई में भी टोल टैक्स है लेकिन गाडी के बेठे आपको पता भी नहीं चलेगा कि टोल टैक्स का भुगतान कब हो गया. यानिकी टोल टैक्स चुक्काने के लिए आपको कही रूकने व पेमेंट करने की जरूरत ही नहीं पड़ेगी. इसे कहते सरलता – सुगमता. ऊपर से हालत यह है कि टेक्निकल बन्दे(Technical Persons)  सभी दूसरो देशो के है. हिन्दुस्तानी (Indians) तो भरे पड़े है.

फिर आखिर दुबई में विकास केसे संभव हुआ : हकीकत यह है कि दुबई  एक तरह का फ्री पोर्ट (Free Port) है, जहा व्यापार-वाणिज्य को पूरी आजादी (Freedom to Trade & Commerce) से व्यापार करने की छूट दे रखी है. दुबई दुनिया का एक बहुत बड़ा व्यापारिक केंद्र (Trade Center)  है. वहा की सरकार व्यापार-वाणिज्य (Trade-Commerce) की बहुत कद्र करती है. जो आजादी दुबई में है, ऐसा यदि हिन्दुस्तान में भी हो जाए तो देश आज भी सोने की चिड़िया हो सकता है लेकिन यहाँ तो व्यापारी को गाली देकर सत्ता हासिल करने के सारे प्रयास किये जाते है.

भारत व दुबई के व्यापार-वाणिज्य में क्या फर्क है : एक ही फर्क है. दुबई में सरल और सख्त टैक्स है और भारत ठीक उसका उलटा कठिन-कलिष्ठ (Complicated Tax) टैक्स है लेकिन सख्त बहुत कम. इसीलिये आजकल  हिन्दुस्तान में भी मांग उठने लगी है कि भारत को इनकम-टैक्स व जीएसटी से मुक्त ( Income-tax and GST Free India ) होना चाहिए तथा पूरे देश को ही सरलीकृत (Simplified India) करो. मोदी सरकार से बहुत उम्मीद थी लेकिन उनकी विचारधारा तो साम्यवादियो-कम्यूनिस्टो (Communism) से भी ज्यादा  व्यापार-वाणिज्य  विरोधी है.

क्या भारत आयकर व जीएसटी मुक्त हो सकता है  : हाँ, भारत भी आयकर व जीएसटी मुक्त हो सकता है.  हालाकि मेरा मानना है कि वर्तमान हालात में आयकर तो 100% समाप्त किया जा सकता है और जीएसटी से 80% व्यापारियों को मुक्त किया जा सकता है. आवश्यकता है, अच्छे व सरल क़ानून की. जेसा कि ऊपर लिखा गया है टैक्स  सरल और सख्त टैक्स होना चाहिए और टैक्स चोरी की संभावनाए होनी ही नहीं चाहिए. मुझे अहसास हो रहा है, अब वो दिन दूर नहीं है, जब भारत भी आयकर से मुक्त हो जाएगा.

लेखक : सीए के.सी.मूंदड़ा / कैलाश चंद्रा / Kailash Chandra Moondra

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